ऐसा माना जाता है कि सूर्यास्त के बाद खाना नहीं खाना चाहिए. जैन धर्म के लोग इस नियम का पालन भी करते हैं. आयुर्वेद की मानें तो सूर्यास्त से पहले खाना खा लेना चाहिए. जबकि कुछ चीजें ऐसी हैं जिन्हें खाने से परहेज करना चाहिए.
मुख्य कारण
– सूर्यास्त से पहले खाना खाने से भोजन को पचने के लिए सुबह तक उचित समय मिल जाता है जिससे पाचन तंत्र तंदुरुस्त रहता है.
– इस समय भोजन करने से कई प्रकार के रोगों से बचाव हो जाता है. रात के समय भोजन में बैक्टीरिया और अन्य जीव चिपक जाते हैं या स्वयं उत्पन्न हो जाते हैं. जिससे बीमार पड़ने का खतरा बढ़ जाता है.
– सूर्य ढलने के बाद मौसम में नमी की मात्रा बढ़ने के कारण सूक्ष्म जीव और बैक्टीरिया पैदा हो जाते हैं. दिन के समय सूर्य की तपश के कारण ये पनपते नहीं लेकिन सूर्यास्त के बाद नमी बढ़ने से ये सक्रिय हो जाते हैं.
– सूर्यास्त के पश्चात भोजन की प्रकृति में भी परिवर्तन आता है और खाने में मौजूद गुण या पोषक तत्व नष्ट होने लगते हैं. सूरज ढलने के बाद खाना बासी और दूषित होना शुरू हो जाता है. जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकता है.
क्या नहीं खाना चाहिए
– ऐसा माना जाता है कि सूर्यास्त के बाद, फल, गन्ने, जंक फूड का सेवन नहीं करना चाहिए.
– रात में फल, दही, सत्तू, मूली और बैंगन नहीं खाना चाहिए.
– ज्यादा मिर्च-मसाले और अम्लीय रसों से बने खाद्य पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए.
Lensman :: Jagdish Singh