रांची, झारखण्ड | अप्रैल | 23, 2022 ;: दानवीर भामाशाह ऐसे शख्सियत थे जिन्होंने आजादी के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर कर महाराणा प्रताप को धन का अंबार लगा दिया जिसका परिणाम महाराणा प्रताप विजई हुए.
उपरोक्त बातें आज प्रदेश कार्यालय में दानवीर भामाशाह की जयंती के उपलक्ष में उनके चित्र पर माल्यार्पण अर्पित करने के पश्चात प्रदेश अध्यक्ष राजेश कुमार गुप्ता ने कही।
उन्होंने कहा कि जिस समय महाराणा प्रताप जंगलों की खाक छान रहे थे और मुगलों से लड़ाई लड़ रहे थे उस समय उन्हें धन की काफी जरूरत थी जिसे भामाशाह ने अपना सारा खजाना खोल कर दिया और युद्ध के लिए हथियार और 25000 सैनिकों के भोजन 12 साल तक की व्यवस्था की यह इतनी बड़ी दान देश के इतिहास में इन्हीं के नाम दर्ज है. इसलिए भामाशाह दानवीर कहलाए।
भामाशाह जी के चित्र पर प्रदेश महासचिव प्रभात शर्मा उपाध्यक्ष उमेश जायसवाल राम लखन साहू अभय प्रसाद दीपक कुमार संतोष शर्मा प्रमुख रूप से उपस्थित थे